Russia Ukraine War:
Trending Photos
Romania-Russia relations: यूक्रेन और रूस सैकड़ों सालों से सांस्कृतिक, भाषायी और पारिवारिक संबंध साझा करते रहे हैं. फिर भी यूक्रेन की चाहत खुद की पहचान को स्वतंत्र रखने और अपना करीबी रिश्ता यूरोप से जोड़ कर रखने की थी. दूसरी ओर पुतिन उसे रूस की सरपरस्ती में मास्को के परचम तले लाना चाहते थे. 'बस इतनी सी बात समंदर को खल गई, एक कागज की नांव मुझपे कैसे चल गयी... रूस और यूक्रेन की अदावत यूं तो पुरानी है. यूक्रेन सीमा पर जारी तनाव की बात करें तो यूरोप का एक और देश पुतिन (Putn) को आंखे दिखा रहा है.
रोमानिया बनाम रूस क्यों
ताजा मसला रोमानिया और रूस का है. जिनके बीच तगड़ी टशनबाजी चल रही है. इस तनातनी की वजह रूस का ड्रोन एक्शन है. रूस ने रोमानिया की सीमा से सटे इलाकों में लगातार ड्रोन उड़ाए तो रोमानिया ने इसे अपनी संप्रभुता पर खतरा बताते हुए फौरन दो मेड इन अमेरिका F-16 फाइटर जेट उन्हें उड़ाने के लिए तैनात कर दिए.
वजह साधारण लेकिन गंभीर
अमेरिकी जेट रोमानिया के 86वें एयर बेस से लगातार गश्त करके रूस को आंखे दिखा रहे हैं. दोनों के बीच असल पंगा ये है कि रोमानिया, यूक्रेन के साथ 381 मील की सीमा साझा करता है. ऐसे में यूक्रेन पर हमले के दौरान अक्सर रूसी हथियार रोमानिया की सीमा के आर-पार हो जाते हैं. दरअसल यूक्रेन के डेन्यूब रिवर पोर्ट पर बीते कुछ दिनों में रूस ने कई हमले किए हैं. रोमानिया की सीमा इससे नजदीक है ऐसे में एक आधा गोला उड़कर रोमानिया की सीमा में आ जाता है, तो उसे लगता है कि रूस उसे जानबूझ कर टारगेट कर रहा है.
जानकारों का मानना है कि यूक्रेन से लंबे समय से युद्ध में उलझे पुतिन खुद नया पंगा नहीं चाहते हैं, लेकिन वो जंग खत्म होने से पहले यूक्रेन को इतना डैमेज कर देना चाहते हैं कि वो कभी अमेरिका से सटने की न सोचे. ट्रंप, यूक्रेन को न पैसा देने के मूड में हैं, न हथियार. ऐसे में पुतिन पीस अकार्ड यानी शांति समझौते से पहले यूक्रेन को एक्सट्रीम लेवल तक दबा रहे हैं, लेकिन उसके जो हमले रोमानिया सीमा से होकर गुजरते हैं, उन्हें रोमानिया अपने लिए खतरे के तौर पर देखता है.
रोमानिया और रूस के बीच के रिश्तों में काफी समय से खटपट चल रही है. 1990 के बाद से दोनों के बीच आपसी रिश्ते तनावभरे ही रहे हैं.
रूस - यूक्रेन की टशन
18वीं शताब्दी में रूस की महारानी कैथरीन द ग्रेट (1762-96) ने पूरे जातीय यूक्रेन के क्षेत्र को रूसी साम्राज्य में मिला लिया था. रूस के तमाम नेता उसी दौर को हाजिर नाजिर मानते हुए हमेशा से यूक्रेन को अपना हिस्सा बताते रहे हैं. 2014 में रूस ने जल्दबाजी में जनमत संग्रह के बाद क्रीमिया को यूक्रेन से अलग कर दिया. ये ऐसा कदम था जिसने पूर्वी यूक्रेन में रूस समर्थित अलगाववादियों और सरकारी बलों के बीच जंग शुरू करा दी. यूक्रेन ने नाटो की सदस्यता ग्रहण करने की प्रक्रिया में तेज़ी लाने का अपील की तो बात बिगड़ गई. रूस ने इसे 'रेड लाइन' बताते हुए अमेरिका की अगुवाई वाले सैन्य गठबंधन से अपने देश की सुरक्षा को खतरा होने की बात कही. जंग की बात करें तो 24 फरवरी, 2022 को रूस के यूक्रेन पर पूर्ण युद्ध का ऐलान हुआ, जिसे फरवरी 2014 की अदावत का विस्तार कहा गया.